True love radha krishna quotes in hindi – राधा कृष्ण का प्रेम एक अनमोल रत्न है। उनका रिश्ता दिव्य और अनोखा है, सच्चे प्यार की मिसाल है। राधा कृष्ण की प्रेम कहानी भगवान के प्रेम की दिव्य भावना का प्रतीक है, जो हर दिल को छू जाती है। उनका प्यार शब्दों के बिना, शारीरिक रिश्ते के बिना, आत्मा के साथ है, जिसे व्यक्त करना और समझना मुश्किल है। राधा कृष्ण का प्रेम हमें स्नेह और आदर्श प्रेम की ओर प्रेरित करता है।
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True love radha krishna quotes in hindi
कितने सुंदर नैन तेरे ओ राधा प्यारी !!
इन नैनों में खो गये मेरे बांकेबिहारी !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में पाकर दिल खो ही जाता हैं
खुदको जितना भी रोक लू प्यार हो ही जाता हैं !!
एक दूजे के होकर ही हम पुरे होते है !!
जैसे राधा कृष्णा की और कृष्णा राधा के होते है !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब-जब कान्हा मुरली बजाएँ दौड़ी आये राधा रानी !!
हर पल आंखों में पानी हैं क्योंकि चाहत में रुहानी हैं !!
मैं हूँ तुझसे तू हैं मुझसे अपनी बस यही कहानी हैं !!
श्याम तेरे मिलने का सत्संग ही बहाना है !!
दुनिया वाले क्या जाने ये रिश्ता पुराना है !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
कन्हैया को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पूरे खत में सिर्फ कान्हा का ही नाम लिखा !!
कृष्ण ने राधा से पूछा ऐसी एक जगह बताओ जहा में !!
नहीं हूँ राधा ने मुस्कुरा के कहा बस मेरे नसीब में !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू प्यार हो ही जाता हैं !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
कोई प्यार करे तो राधा-कृष्ण की तरह करे !!
जो एक बार मिले तो फिर कभी बिछड़े हीं नहीं !!
दे के दर्शन कर दो पूरी प्रभु मेरे मन की तृष्णा !!
कब तक तेरी राह निहारूं अब तो आओ कृष्णा !!
कोई कह दो यशोदा से जाकर बातें अब बड़ी बनाने लगे है !!
श्याम माखन चुराते-चुराते अब तो दिल भी चुराने लगे है !!
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर निकाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
जानते हो कृष्ण क्युं तुम पर हमें गुरुर हैं !!
क्युंकि तुम्हारे होने से हमारी ज़िन्दगी मे नूर है !!
तू समझ ये बंदे प्रभु तुझसे दूर नहीं !!
भक्तों को कष्ट मिले ये हमारे कान्हा को मंजूर नहीं !!
रूठना ना तो हर कोई जानता है !!
पर सबके पास प्यार से मनाने वाला नहीं होता !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
राधा-राधा जपने से हो जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि यही वही वो नाम है जिससे कृष्ण को प्यार !!
परमात्मा के बाद इस दुनिया में !!
अगर कोई पवित्र चीज़ है तो वो है प्रेम !!
हे कान्हा तुम्हे पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
प्रभु खोजने से नहीं मिलते !!
उसमें खो जाने से मिलते है !!
राधेकृष्णा जय श्री कृष्णा !!
कान्हा को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पुरे खत में सिर्फ कान्हा कान्हा नाम लिखा !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
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Radha Krishna quotes in hindi
पता नहीं मजाक था या !!
प्यार का पैगाम लिखा था !!
जब मैनें राधा और उसने श्याम लिखा था !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया सुन भई वो प्रेम दीवानी !!
जब जब कान्हा मुरली बजाए दौड़ी आये राधा रानी !!
राधे राधे !!
श्री कृष्ण कहते थे !!
प्रेम का अर्थ किसीको पाना नहीं !!
किन्तु उसमे खो जाना है !!
इसलिए शुभ भावना से कर्म कीजिये !!
परिणाम शुभ ही होंगे !!
तो प्रेम से बोलो राधे-राधे !!
प्यार और तकदीर कभी साथ साथ नहीं चलते !!
क्योकि जो तकदीर में होते है उनसे कभी प्यार नहीं होता !!
और जिससे हमे प्यार हो जाता है वह तकदीर में नहीं होता !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और राधा का नाम कृष्ण होता है !!
कान्हा को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पुरे खत में सिर्फ कान्हा कान्हा नाम लिखा !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
पलके झुके और नमन हो जाये मस्तक झुके !!
और वंदन हो जाये ऐसे नज़र कहा से लाऊ की !!
तुझे याद करू और तेरे दर्शन हो जाये !!
राधा की भक्ति मुरली की मिठास !!
माखन का स्वाद और गोपियों का रास !!
सब मिलके बनाते हैं जन्माष्टमी का दिन ख़ास !!
राधा ने कृष्ण से पूछा आपने मुझसे शादी क्यों नहीं की !!
कृष्ण ने जवाब दिया शादी तो दो लोगो के बीच होती है !!
परन्तु राधा तुम और में तोह एक हैं !!
कभी अपने लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए संघर्ष करता है !!
तो कभी जो प्राप्त किया है उसे बचाने के लिए संघर्ष करता है !!
किन्तु सबका एक उल्हाना होता है कि संघर्ष करते समय कष्ट बहुत होता है !!
मनुष्य सदा सोचता है फल के विषय में !!
कि मैं जो करने जा रहा हूँ उसका फल क्या होगा !!
उसका परिणाम क्या होगा पर इसकी चिंता क्यों !!
संसार के लोगो की आशा न किया करना !!
जब-जब मन विचलित हो !!
राधा-कृष्ण नाम लिया करना !!
अभी तो बस इश्क़ हुआ है कान्हा से !!
मंजिल तो वृंदावन में ही मिलेगी !!
राधे राधे !!
जिस दिन आपको कोई परेशानी न हो !!
आप विश्वास कर सकते हैं !!
कि आप गलत रास्ते पर यात्रा कर रहे हैं !!
तुम मुझ पर विजय पाने का !!
एकमात्र तरीका प्रेम के माध्यम से है !!
और वहां मुझे खुशी से जीत लिया गया है !!
नमस्कार करो और अपना सिर झुकाओ और झुको !!
और कहाँ से ऐसी दृष्टि लाऊँ कि मैं तुम्हें याद करूँ !!
और तुम्हें देखा जा सके !!
मधुवन में भले ही कान्हा किसी गोपी से मिले !!
मन में तो राधा के ही प्रेम के है फूल खिले !!
प्रेम से बोलो राधे-राधे !!
प्रेम जिद्द से नहीं किस्मत से मिलता है !!
वरना पूरी दुनिया का मालिक !!
अपनी राधा के बिना नहीं रहता !!
राधा की भक्ति मुरली की मिठास !!
माखन का स्वाद और गोपियों का रास !!
सब मिलके बनाते हैं जन्माष्टमी का दिन ख़ास !!
मेरे पास गोपियाँ तो बहुत हैं !!
पर मेरा मन मेरी राधा के !!
सिवा कहीं लगता ही नही !!
बड़ा मीठा नशा है कृष्ण की याद का !!
वक्त गुजरात गया और हम आदि होते गए !!
जय राधे कृष्णा !!
सांवरे तेरी मोहब्बत को !!
नया अंजाम देने की तैयारी हैं।
कल तक मीरा दीवानी थी !!
आज मेरी बारी हैं !!
माना कि मुझमे मीरा सी कोई कशिश नही !!
गोपी के जैसे रो सकू वो जज्बात नही !!
एकबार मेरे साँवरे इस दिल की भी सुनो !!
मेरे राधा कृष्णा मुरारी !!
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Radha Krishna shayari
चारों तरफ फैल रही हैं !!
इनके प्यार की खुशबू थोड़ी-थोड़ी
कितनी प्यारी लग रही हैं !!
साँवरे-गोरी की यह जोड़ी !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
हर पल उस से मिलने की चाहत क्यों होती हैं !!
हर पल उसकी जरूरत क्यों होती हैं !!
जिसे हम पा नही सकते !!
खुदा जाने उसी से मोहब्बत क्यों होती है !!
राधा कृष्ण !!
सुनो कन्हैया जहाँ से तेरा मन करे !!
मेरी जिन्दगी को पड़ लो पन्ना चाहे !!
कोईं भी खोलो हर पन्ने पर !!
तेरा नाम होगा मेरे कान्हा !!
जमाने से नहीं हम तन्हाई से डरते हैं !!
प्यार से नहीं हम रुस्वाई से डरते हैं !!
दिल में उमंग हैं तुम्हे मिलने की !!
पर मिलने के बाद आने वाली जुदाई से डरते हैं !!
राधे राधे बोल !!
श्याम भागे चले आएंगे !!
एक बार आ गए !!
तो कबू नहीं जायेंगे !!
हे कान्हा !!
तुम संग बीते वक़्त का मैं कोई हिसाब नहीं रखती !!
मैं बस लम्हे जीती हूँ !!
इसके आगे कोई ख्वाब नहीं रखती !!
तेरे सीने से लग कर तेरी धङकन बन जाऊँ !!
तेरी साँसो मेँ घुल कर खुशबू बन जाऊँ !!
हो ना फासला कोई हम दोनो के दरम्याँ !!
मैँ मैँ ना रहुँ कान्हा बस तुँ ही तुँ बन जाऊँ !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी है !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
हे कान्हा फर्क बस इतना ही है !!
हम दोनों की तन्हाई में !!
तुम्हारे पास तो फिर भी तुम हो !!
मेरे पास तो में भी नहीं हूँ !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और राधा !!
का नाम कृष्ण होता है !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा ही नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो !!
राधा के दिल में विराजमान हैं !!
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया !!
सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब-जब कान्हा मुरली !!
बजाएँ दौड़ी आये राधा रानी !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में !!
पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू !!
प्यार हो ही जाता हैं !!
राधा तुम जहां भी हो जैसे भी हो !!
तुम वैसे ही रहना !!
तुम्हे पाना जरूरी नहीं है !!
बल्कि तुम्हरा हो जाना ही काफी है !!
उन्होंने नस देखि हमारी और बीमार लिख दिया !!
रोग हमने पूछा तो वृंदावन से प्यार लिख दिया !!
कर्जदार रहेगे उम्र भर हम उस वैद के जिसने दवा में !!
श्री राधे कृष्ण नाम लिख दिया !!
दिल में ना जाने कैसे तेरे !!
लिए इतनी जगह बन गई !!
तेरे दर्शन को छोटी से छोटी !!
इच्छा मेरे जीने की वजह बन गई !!
दौलत छोड़ी शोहरत छोड़ी !!
सारा खजाना छोड़ दिया !!
कृष्णा के प्रेम दीवानों ने सारा !!
जमाना छोड़ दिया !!
श्री कृष्ण अच्छे लोगों की परीक्षा बहुत लेते है !!
परंतु कभी उनका साथ नही छोड़ते !!
और बुरे लोगों को कृष्ण बहुत कुछ देते है !!
परंतु उनका कभी साथ नही देते !!
प्रेम कोई दो पल का भोजन !!
नही जो चखा और रहने दिया !!
प्रेम को निभाने के लिए तो !!
अपना पूरा जीवन समर्पित करना पड़ता हैं !!
किसी की सूरत बदल गई !!
किसी की नियत बदल गई !!
जब से तूने पकड़ा मेरा हाथ राधे !!
मेरी तो किस्मत ही बदल गई !!
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Sad Radha Krishna shayari
बैकुंठ में भी ना मिले जो वो सुख !!
कान्हा तेरे वृंदावन धाम में हैं !!
कितनी भी बड़ी विपदा हो चाहे !!
समाधान तो बस श्री राधे तेरे नाम में हैं !!
कुछ तोह बात है साहब मोहब्बत में !!
वरना सोलह हज़ार एक सौ !!
आठ रानियों का राजा होकर !!
एक राधा के लिए नहीं तरसता !!
राधा-राधा जपने से हो !!
जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि ये वही नाम हैं !!
जिससे कृष्ण को हैं प्यार !!
कर भरोसा राधे नाम का !!
धोखा कभी न खायेगा !!
हर मौके पर कृष्ण तेरे !!
घर सबसे पहले आयेगा !!
रूप बड़ा प्यारा है !!
चेहरा बड़ा निराला है !!
बड़ी से बड़ी मुसीबत को !!
कन्हैया ने पल भर में हल कर डाला है !!
कृष्ण कन्हाई को जापे सभी !!
पर वह अस्तित्व अधूरा है !!
कान्हा के प्राण बेस ब्रज !!
में जहाँ कड में राधा राधा है !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी हैं !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
पलके झुके और नमन हो जाये !!
मस्तक झुके और वंदन हो जाये !!
ऐसे नज़र कहा से लाऊ की !!
तुझे याद करू और तेरे दर्शन हो जाये !!
कितना बेबस हो जाता है !!
इंसान जब किसी !!
को खो भी नहीं सकता !!
और उसका हो भी नहीं सकता !!
राम बना तो सीता नही मिली !!
कृष्णा बना तो राधा नहीं मिली !!
मोहब्बत तो दोनों ने की थी मगर !!
मुक्कादर को मोहब्बत ही न मिली !!
एक तरफ साँवले कृष्ण !!
दूसरी तरफ राधिका गोरी !!
जैसे एक-दूसरे से मिल !!
गए हों चाँद-चकोरी !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो राधा के !!
दिल पर हर जगह विराजमान हैं !!
मटकी तोड़े माखन खाए !!
फिर भी सबके मन को भाये !!
राधा के वो प्यारे मोहन !!
महिमा उनकी दुनिया गाये !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और !!
राधा का नाम कृष्ण होता है !!
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा !!
प्यार का असली मतलब क्या होता हैं !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता हैं !!
नन्हा सा फूल हूँ मैं !!
चरणों की धुल हूँ मैं !!
आया हूँ तेरे द्वार कान्हा !!
मेरी पूजा करो स्वीकार !!
पलकें झुकें और नमन हो जाए !!
मस्तक झुके और बंदन हो जाए !!
ऐसी नजर कहाँ से लाऊँ मेरे कान्हा
कि आपको याद करूँ और दर्शन हो जाए !!
कभी राम बन के कभी श्याम बन के !!
चले आना प्रभु जी चले आना हमारे हृदय में !!
जब राम रूप में आना माँ सीता को भी संग लाना !!
जब श्याम रूप में आना तो माँ राधा को संग लाना !!
राधा के दिल की चाहत है कृष्णा !!
राधा की विरासत है कृष्णा !!
कितने भी रास रचा ले कृष्णा !!
फिर भी दुनिया कहेगी !!
पता नहीं कैसे परखता है !!
मेरा कृष्ण मुझे !!
इम्तिहां भी मुश्किल ही लेता है !!
और फेल भी होने नहीं देता !!
कितना भी धन-दौलत पा लो
पर भूख नहीं मिटटी तृष्णा की !!
उसको जीवन का सारा धन मिल जाता है !!
जो भक्ति करें राधा के कृष्णा की !!
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Emotional dard radha krishna shayari
जमाने से नहीं हम तन्हाई से डरते हैं !!
प्यार से नहीं हम रुस्वाई से डरते हैं !!
दिल में उमंग हैं तुम्हे मिलने की !!
पर मिलने के बाद आने वाली जुदाई से डरते हैं !!
सुनो कन्हैया जहाँ से तेरा मन करे !!
मेरी जिन्दगी को पड़ लो पन्ना !!
चाहे कोईं भी खोलो हर पन्ने पर !!
तेरा नाम होगा मेरे कान्हा !!
डरो मत जो वास्तविक नहीं है !!
कभी नहीं था और कभी नहीं होगा !!
जो सच वह हमेशा था !!
और नष्ट नहीं किया जा सकता !!
जब कोई व्यक्ति दूसरों के सुख-दुःख के प्रति !!
इस तरह प्रतिक्रिया करता है !!
जैसे कि वे उसके अपने थे तो उसने !!
महान धार्मिक विवाह को प्राप्त कर लिया है !!
दूसरों की जिम्मेदारियों को !!
सीखने की तुलना में अपने स्वयं के !!
कर्तव्यों को अपूर्ण रूप से !!
निष्पादित करना बेहतर है !!
जबसे जीव अस्तित्व में आये है !!
तबसे एक और शब्द अस्तित्व में आया है !!
संघर्ष जन्म लेते ही व्यक्ति को जीवन !!
जीने के लिए संघर्ष करना पड़ता है !!
क्योंकि कर्म यदि शुभ हो तो !!
परिणाम बुरे हो ही नहीं सकते !!
शुभ की इच्छा से कार्य करने वालो को !!
फल की चिंता कैसी !!
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा प्यार का असली !!
मतलब क्या होता हैं !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता हैं !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में !!
पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू !!
प्यार हो ही जाता हैं !!
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा !! सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
मटकी तोड़े माखन खाए !!
फिर भी सबके मन को भाये !!
राधा के वो प्यारे मोहन !!
महिमा उनकी दुनिया गाये !!
राम बना तो सीता नही मिली !!
कृष्णा बना तो राधा नहीं मिली !!
मोहब्बत तो दोनों ने की थी मगर !!
मुक्कादर को मोहब्बत ही न मिली !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो राधा के !!
दिल पर हर जगह विराजमान हैं !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी हैं !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
कुछ तोह बात है साहब मोहब्बत में !!
वरना सोलह हज़ार एक सौ !!
आठ रानियों का राजा होकर !!
एक राधा के लिए नहीं तरसता !!
किसी की सूरत बदल गई !!
किसी की नियत बदल गई !!
जब से तूने पकड़ा मेरा हाथ !!
राधे मेरी तो किस्मत ही बदल गई !!
बैकुंठ में भी ना मिले जो वो सुख !!
कान्हा तेरे वृंदावन धाम में हैं !!
कितनी भी बड़ी विपदा हो चाहे !!
समाधान तो बस श्री राधे तेरे नाम में हैं !!
पीर लिखो तो मीरा जैसी !!
मिलन लिखो कुछ राधा सा !!
दोनों ही है कुछ पूरे से !!
दोनों में ही वो कुछ आधा सा !!
जय श्री कृष्णा !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
प्यार और तकदीर कभी साथ साथ नहीं चलते !!
क्योकि जो तकदीर में होते है !!
उनसे कभी प्यार नहीं होता !!
और जिससे हमे प्यार हो जाता है !!
वह तकदीर में नहीं होता !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
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Dard radha krishna shayari
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा !!
प्यार का असली मतलब क्या होता है !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा !!
जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता है !!
मैं कान्हा था कान्हा हूँ
ओर कान्हा ही रहूँगा !!
फैसला तुझे करना हैं पगली !!
तुझे गोपी बनना हैं !!
मीरा बनना हैं या मेरी राधा !!
राधा ने कृष्ण से पूछा आपने !!
मुझसे शादी क्यों नहीं की !!
कृष्ण ने जवाब दिया शादी !!
तो दो लोगो के बीच होती है !!
परन्तु राधा तुम और में तोह एक हैं !!
भगवान कृष्ण के बिना !!
जीवन भक्ति के बिना प्रार्थना !!
भावना के बिना शब्द !!
सुगंध के बिना अनुयायी गूंज के बिना गूंज !!
लक्ष्य के बिना अस्तित्व आत्मा के बिना दुनिया !!
जो फूल बेचते है !!
उन्हें कभी-कभार कांटे अवश्य चुभ जाते है !!
किन्तु सुगंध उनके हाथों में रह ही जाती है !!
हीरे की खोज में कोयले की खान में !!
उतरे व्यक्ति पर कालिक भले ही लग जाये !!
किन्तु हाथों में हीरा अवश्य लगता है !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
मैं कान्हा था कान्हा हूँ !!
ओर कान्हा ही रहूँगा !!
फैसला तुझे करना हैं पगली !!
तुझे गोपी बनना हैं !!
मीरा बनना हैं या मेरी राधा !!
कृष्ण की प्रेम बांसुरिया सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब जब मुरली बजाएं दौड़ी आये राधा रानी !!
राधा कृष्ण का मिलन तो बस एक बहाना था !!
दुनियाँ को प्यार का सही मतलब जो समझाना था !!
यदि आप किसी को हमेशा के लिए नहीं खोना चाहते हो !!
तो उससे समयसमय पर दूरी बनाए रखें !!
श्याम की बंसी जब भी बजी है !!
राधा के मन में प्रीत जगी है !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती हैं !!
जो प्रेम की पूजा करते है !!
राधा-कृष्ण उनके हृदय में बसते हैं !!
हे कान्हा तुम्हें पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
हर पल !! हर दिन कहता हैं कान्हा का मन !!
तू कर ले पल-पल राधा का सुमिरन !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर विवाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
अगर तुमने राधा के कृष्ण के प्रति समर्पण को जान लिया !!
तो तुमने प्यार को सच्चे अर्थों में जान लिया !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
भरोसा और प्यार ऐसे पंछी हैं अगर इनमे से !!
एक उड़ जाएँ तो दूसरा अपने आप उड़ जाता हैं !!
जो है माखन चोर जो है मुरली वाला !!
वही है हम सबके दुःख दूर करने वाला !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती है !!
जानते हो कृष्ण क्युं तुम पर हमें गुरुर हैं !!
क्युंकि तुम्हारे होने से हमारी ज़िन्दगी मे नूर है !!
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Radha krishna shayari in hindi
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
जब प्रेम का सुरूर मेरे दिल पर छाता है !!
मेरा हृदय चारों तरफ राधा-कृष्ण को ही पाता है !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
मुझे मालूम था की वो मेरा हो ही नहीं सकता !!
मगर देखो मुझे फिर भी प्रेम हो गया उससे !!
प्रेम तो सदियों से चला आ रहा हैं !!
फिर वो राधा का हो या सीता का !!
हर सच्ची मोहब्बत यदि मुकम्मल होती !!
तो निःसंदेह राधे भी श्री कृष्ण की होती !!
यदि प्रेम का मतलब सिर्फ पा लेना होता !!
तो हर हृदय में राधा-कृष्ण का नाम नही होता !!
कितने सुंदर नैन तेरे ओ राधा प्यारी !!
इन नैनों में खो गये मेरे बांकेबिहारी !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
कन्हैया को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पूरे खत में सिर्फ कान्हा का ही नाम लिखा !!
श्याम की बंसी जब भी बजी है !!
राधा के मन में प्रीत जगी है !!
कान्हा को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पुरे खत में सिर्फ कान्हा कान्हा नाम लिखा !!
अब तो आँखों से भी जलन होती हैं मुझे ए कान्हा !!
खूकि हो तो तलाश तेरी और बंद हो तो ख्वाब तेरे !!
अगर तुमने राधा के कृष्ण के प्रति समर्पण को जान लिया !!
तो तुमने प्यार को सच्चे अर्थों में जान लिया !!
जो प्रेम की पूजा करते है !!
राधा-कृष्ण उनके हृदय में बसते हैं !!
कृष्ण की प्रेम बांसुरिया सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब जब मुरली बजाएं दौड़ी आये राधा रानी !!
राधा कृष्ण का मिलन तो बस एक बहाना था !!
दुनियाँ को प्यार का सही मतलब जो समझाना था !!
यदि आप किसी को हमेशा के लिए नहीं खोना चाहते हो !!
तो उससे समयसमय पर दूरी बनाए रखें !!
श्याम की बंसी जब भी बजी है !!
राधा के मन में प्रीत जगी है !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती हैं !!
जो प्रेम की पूजा करते है !!
राधा-कृष्ण उनके हृदय में बसते हैं !!
हे कान्हा तुम्हें पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
हर पल !! हर दिन कहता हैं कान्हा का मन !!
तू कर ले पल-पल राधा का सुमिरन !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
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Radha krishna status
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर विवाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
अगर तुमने राधा के कृष्ण के प्रति समर्पण को जान लिया !!
तो तुमने प्यार को सच्चे अर्थों में जान लिया !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
भरोसा और प्यार ऐसे पंछी हैं अगर इनमे से !!
एक उड़ जाएँ तो दूसरा अपने आप उड़ जाता हैं !!
जो है माखन चोर जो है मुरली वाला !!
वही है हम सबके दुःख दूर करने वाला !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती है !!
जानते हो कृष्ण क्युं तुम पर हमें गुरुर हैं !!
क्युंकि तुम्हारे होने से हमारी ज़िन्दगी मे नूर है !!
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
जब प्रेम का सुरूर मेरे दिल पर छाता है !!
मेरा हृदय चारों तरफ राधा-कृष्ण को ही पाता है !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
मुझे मालूम था की वो मेरा हो ही नहीं सकता !!
मगर देखो मुझे फिर भी प्रेम हो गया उससे !!
प्रेम तो सदियों से चला आ रहा हैं !!
फिर वो राधा का हो या सीता का !!
हर सच्ची मोहब्बत यदि मुकम्मल होती !!
तो निःसंदेह राधे भी श्री कृष्ण की होती !!
यदि प्रेम का मतलब सिर्फ पा लेना होता !!
तो हर हृदय में राधा-कृष्ण का नाम नही होता !!
कितने सुंदर नैन तेरे ओ राधा प्यारी !!
इन नैनों में खो गये मेरे बांकेबिहारी !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
कन्हैया को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पूरे खत में सिर्फ कान्हा का ही नाम लिखा !!
कोई प्यार करे तो राधा-कृष्ण की तरह करे !!
जो एक बार मिले तो फिर कभी बिछड़े हीं नहीं !!
मुझे मालूम था की वो मेरा हो ही नहीं सकता
मगर देखो मुझे फिर भी प्रेम हो गया उससे !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
प्रेम तो सदियों से चला आ रहा हैं !!
फिर वो राधा का हो या सीता का !!
जब प्रेम का सुरूर मेरे दिल पर छाता है !!
मेरा हृदय चारों तरफ राधा-कृष्ण को ही पाता है !!
भरोसा और प्यार ऐसे पंछी हैं अगर इनमे से !!
एक उड़ जाएँ तो दूसरा अपने आप उड़ जाता हैं !!
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
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Radha krishna quotes
जो प्रेम की पूजा करते है !!
राधा-कृष्ण उनके हृदय में बसते हैं !!
हे कान्हा तुम्हें पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
एक तरफ साँवले कृष्ण दूसरी तरफ राधिका गोरी !!
जैसे एक-दूसरे से मिल गए हों चाँद-चकोरी !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती है !!
यदि प्रेम का मतलब सिर्फ पा लेना होता !!
तो हर हृदय में राधा-कृष्ण का नाम नही होता !!
कितना बेबस हो जाता है इंसान जब किसी !!
को खो भी नहीं सकता और उसका हो भी नहीं सकता !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
जो है माखन चोर जो है मुरली वाला !!
वही है हम सबके दुःख दूर करने वाला !!
कर भरोसा राधे नाम का धोखा कभी न खायेगा !!
हर मौके पर कृष्ण तेरे घर सबसे पहले आयेगा !!
रूप बड़ा प्यारा है चेहरा बड़ा निराला है बड़ी से !!
बड़ी मुसीबत को कन्हैया ने पल भर में हल कर डाला है !!
कृष्ण कन्हाई को जापे सभी पर वह अस्तित्व अधूरा है !!
कान्हा के प्राण बेस ब्रज में जहाँ कड में राधा राधा है !!
मेरे पास गोपियाँ तो बहुत हैं !!
पर मेरा मन मेरी राधा के सिवा कहीं लगता ही नही !!
अगर तुमने राधा के कृष्ण के प्रति समर्पण को जान लिया !!
तो तुमने प्यार को सच्चे अर्थों में जान लिया !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर विवाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
राधा-राधा जपने से हो जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि ये वही नाम हैं जिससे कृष्ण को हैं प्यार !!
पता नहीं मजाक था या प्यार का पैगाम लिखा था !!
जब मैनें राधा और उसने श्याम लिखा था !!
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
हर पल हर दिन कहता हैं कान्हा का मन !!
तू कर ले पल-पल राधा का सुमिरन !!
जब सुकून ना मिले दिखावे की बस्ती में !!
तब खो जाना मेरे श्याम की मस्ती में !!
अपना अनिवार्य कर्तव्य निभाएं !!
क्योंकि कार्रवाई निष्क्रियता से कहीं बेहतर है !!
अपना दिल अपने काम पर लगाएं !!
लेकिन इसके लाभ पर नहीं !!
एक आदमी अपने विश्वासों से बनता है !!
जैसा वह मानता है वैसा ही वह बन जाता है !!
कृष्ण ने राधा से पूछा ऐसी एक जगह बताओ जहा में !!
नहीं हूँ राधा ने मुस्कुरा के कहा बस मेरे नसीब में !!
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Love radha krishna quotes
राधा कृष्ण का मिलन तो बस एक बहाना था !!
दुनियाँ को प्यार का सही मतलब जो समझाना था !!
प्रेम के दो मीठे बोल बोलकर खरीद लो हमें !!
कीमत से सोचोगे तो पूरी दुनिया बेचनी पडेगी !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह ईनाम हैं !!
कान्हा से पहले लोग लेते राधा का नाम हैं !!
दे के दर्शन कर दो पूरी प्रभु मेरे मन की तृष्णा !!
कब तक तेरी राह निहारूं अब तो आओ कृष्णा !!
कोई कह दो यशोदा से जाकर बातें अब बड़ी बनाने लगे है !!
श्याम माखन चुराते-चुराते अब तो दिल भी चुराने लगे है !!
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर निकाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
जानते हो कृष्ण क्युं तुम पर हमें गुरुर हैं !!
क्युंकि तुम्हारे होने से हमारी ज़िन्दगी मे नूर है !!
तू समझ ये बंदे प्रभु तुझसे दूर नहीं !!
भक्तों को कष्ट मिले ये हमारे कान्हा को मंजूर नहीं !!
रूठना ना तो हर कोई जानता है !!
पर सबके पास प्यार से मनाने वाला नहीं होता !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
राधा-राधा जपने से हो जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि यही वही वो नाम है जिससे कृष्ण को प्यार !!
परमात्मा के बाद इस दुनिया में !!
अगर कोई पवित्र चीज़ है तो वो है प्रेम !!
हे कान्हा तुम्हे पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
प्रभु खोजने से नहीं मिलते !!
उसमें खो जाने से मिलते है !!
राधेकृष्णा जय श्री कृष्णा !!
कान्हा को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पुरे खत में सिर्फ कान्हा कान्हा नाम लिखा !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
पता नहीं मजाक था या !!
प्यार का पैगाम लिखा था !!
जब मैनें राधा और उसने श्याम लिखा था !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया सुन भई वो प्रेम दीवानी !!
जब जब कान्हा मुरली बजाए दौड़ी आये राधा रानी !!
राधे राधे !!
श्री कृष्ण कहते थे !!
प्रेम का अर्थ किसीको पाना नहीं !!
किन्तु उसमे खो जाना है !!
इसलिए शुभ भावना से कर्म कीजिये !!
परिणाम शुभ ही होंगे !!
तो प्रेम से बोलो राधे-राधे !!
प्यार और तकदीर कभी साथ साथ नहीं चलते !!
क्योकि जो तकदीर में होते है उनसे कभी प्यार नहीं होता !!
और जिससे हमे प्यार हो जाता है वह तकदीर में नहीं होता !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और राधा का नाम कृष्ण होता है !!
कान्हा को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पुरे खत में सिर्फ कान्हा कान्हा नाम लिखा !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
पलके झुके और नमन हो जाये मस्तक झुके !!
और वंदन हो जाये ऐसे नज़र कहा से लाऊ की !!
तुझे याद करू और तेरे दर्शन हो जाये !!
राधा की भक्ति मुरली की मिठास !!
माखन का स्वाद और गोपियों का रास !!
सब मिलके बनाते हैं जन्माष्टमी का दिन ख़ास !!
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Radha krishna quotes on love
राधा ने कृष्ण से पूछा आपने मुझसे शादी क्यों नहीं की !!
कृष्ण ने जवाब दिया शादी तो दो लोगो के बीच होती है !!
परन्तु राधा तुम और में तोह एक हैं !!
कभी अपने लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए संघर्ष करता है !!
तो कभी जो प्राप्त किया है उसे बचाने के लिए संघर्ष करता है !!
किन्तु सबका एक उल्हाना होता है कि संघर्ष करते समय कष्ट बहुत होता है !!
मनुष्य सदा सोचता है फल के विषय में !!
कि मैं जो करने जा रहा हूँ उसका फल क्या होगा !!
उसका परिणाम क्या होगा पर इसकी चिंता क्यों !!
संसार के लोगो की आशा न किया करना !!
जब-जब मन विचलित हो !!
राधा-कृष्ण नाम लिया करना !!
अभी तो बस इश्क़ हुआ है कान्हा से !!
मंजिल तो वृंदावन में ही मिलेगी !!
राधे राधे !!
जिस दिन आपको कोई परेशानी न हो !!
आप विश्वास कर सकते हैं !!
कि आप गलत रास्ते पर यात्रा कर रहे हैं !!
तुम मुझ पर विजय पाने का !!
एकमात्र तरीका प्रेम के माध्यम से है !!
और वहां मुझे खुशी से जीत लिया गया है !!
नमस्कार करो और अपना सिर झुकाओ और झुको !!
और कहाँ से ऐसी दृष्टि लाऊँ कि मैं तुम्हें याद करूँ !!
और तुम्हें देखा जा सके !!
मधुवन में भले ही कान्हा किसी गोपी से मिले !!
मन में तो राधा के ही प्रेम के है फूल खिले !!
प्रेम से बोलो राधे-राधे !!
प्रेम जिद्द से नहीं किस्मत से मिलता है !!
वरना पूरी दुनिया का मालिक !!
अपनी राधा के बिना नहीं रहता !!
राधा की भक्ति मुरली की मिठास !!
माखन का स्वाद और गोपियों का रास !!
सब मिलके बनाते हैं जन्माष्टमी का दिन ख़ास !!
मेरे पास गोपियाँ तो बहुत हैं !!
पर मेरा मन मेरी राधा के !!
सिवा कहीं लगता ही नही !!
बड़ा मीठा नशा है कृष्ण की याद का !!
वक्त गुजरात गया और हम आदि होते गए !!
जय राधे कृष्णा !!
सांवरे तेरी मोहब्बत को !!
नया अंजाम देने की तैयारी हैं।
कल तक मीरा दीवानी थी !!
आज मेरी बारी हैं !!
माना कि मुझमे मीरा सी कोई कशिश नही !!
गोपी के जैसे रो सकू वो जज्बात नही !!
एकबार मेरे साँवरे इस दिल की भी सुनो !!
मेरे राधा कृष्णा मुरारी !!
चारों तरफ फैल रही हैं !!
इनके प्यार की खुशबू थोड़ी-थोड़ी
कितनी प्यारी लग रही हैं !!
साँवरे-गोरी की यह जोड़ी !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
हर पल उस से मिलने की चाहत क्यों होती हैं !!
हर पल उसकी जरूरत क्यों होती हैं !!
जिसे हम पा नही सकते !!
खुदा जाने उसी से मोहब्बत क्यों होती है !!
राधा कृष्ण !!
सुनो कन्हैया जहाँ से तेरा मन करे !!
मेरी जिन्दगी को पड़ लो पन्ना चाहे !!
कोईं भी खोलो हर पन्ने पर !!
तेरा नाम होगा मेरे कान्हा !!
जमाने से नहीं हम तन्हाई से डरते हैं !!
प्यार से नहीं हम रुस्वाई से डरते हैं !!
दिल में उमंग हैं तुम्हे मिलने की !!
पर मिलने के बाद आने वाली जुदाई से डरते हैं !!
राधे राधे बोल !!
श्याम भागे चले आएंगे !!
एक बार आ गए !!
तो कबू नहीं जायेंगे !!
हे कान्हा !!
तुम संग बीते वक़्त का मैं कोई हिसाब नहीं रखती !!
मैं बस लम्हे जीती हूँ !!
इसके आगे कोई ख्वाब नहीं रखती !!
तेरे सीने से लग कर तेरी धङकन बन जाऊँ !!
तेरी साँसो मेँ घुल कर खुशबू बन जाऊँ !!
हो ना फासला कोई हम दोनो के दरम्याँ !!
मैँ मैँ ना रहुँ कान्हा बस तुँ ही तुँ बन जाऊँ !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी है !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
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Emotional radha krishna quotes in hindi
हे कान्हा फर्क बस इतना ही है !!
हम दोनों की तन्हाई में !!
तुम्हारे पास तो फिर भी तुम हो !!
मेरे पास तो में भी नहीं हूँ !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और राधा !!
का नाम कृष्ण होता है !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा ही नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो !!
राधा के दिल में विराजमान हैं !!
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया !!
सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब-जब कान्हा मुरली !!
बजाएँ दौड़ी आये राधा रानी !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में !!
पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू !!
प्यार हो ही जाता हैं !!
राधा तुम जहां भी हो जैसे भी हो !!
तुम वैसे ही रहना !!
तुम्हे पाना जरूरी नहीं है !!
बल्कि तुम्हरा हो जाना ही काफी है !!
उन्होंने नस देखि हमारी और बीमार लिख दिया !!
रोग हमने पूछा तो वृंदावन से प्यार लिख दिया !!
कर्जदार रहेगे उम्र भर हम उस वैद के जिसने दवा में !!
श्री राधे कृष्ण नाम लिख दिया !!
दिल में ना जाने कैसे तेरे !!
लिए इतनी जगह बन गई !!
तेरे दर्शन को छोटी से छोटी !!
इच्छा मेरे जीने की वजह बन गई !!
दौलत छोड़ी शोहरत छोड़ी !!
सारा खजाना छोड़ दिया !!
कृष्णा के प्रेम दीवानों ने सारा !!
जमाना छोड़ दिया !!
श्री कृष्ण अच्छे लोगों की परीक्षा बहुत लेते है !!
परंतु कभी उनका साथ नही छोड़ते !!
और बुरे लोगों को कृष्ण बहुत कुछ देते है !!
परंतु उनका कभी साथ नही देते !!
प्रेम कोई दो पल का भोजन !!
नही जो चखा और रहने दिया !!
प्रेम को निभाने के लिए तो !!
अपना पूरा जीवन समर्पित करना पड़ता हैं !!
किसी की सूरत बदल गई !!
किसी की नियत बदल गई !!
जब से तूने पकड़ा मेरा हाथ राधे !!
मेरी तो किस्मत ही बदल गई !!
बैकुंठ में भी ना मिले जो वो सुख !!
कान्हा तेरे वृंदावन धाम में हैं !!
कितनी भी बड़ी विपदा हो चाहे !!
समाधान तो बस श्री राधे तेरे नाम में हैं !!
कुछ तोह बात है साहब मोहब्बत में !!
वरना सोलह हज़ार एक सौ !!
आठ रानियों का राजा होकर !!
एक राधा के लिए नहीं तरसता !!
राधा-राधा जपने से हो !!
जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि ये वही नाम हैं !!
जिससे कृष्ण को हैं प्यार !!
कर भरोसा राधे नाम का !!
धोखा कभी न खायेगा !!
हर मौके पर कृष्ण तेरे !!
घर सबसे पहले आयेगा !!
रूप बड़ा प्यारा है !!
चेहरा बड़ा निराला है !!
बड़ी से बड़ी मुसीबत को !!
कन्हैया ने पल भर में हल कर डाला है !!
कृष्ण कन्हाई को जापे सभी !!
पर वह अस्तित्व अधूरा है !!
कान्हा के प्राण बेस ब्रज !!
में जहाँ कड में राधा राधा है !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी हैं !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
पलके झुके और नमन हो जाये !!
मस्तक झुके और वंदन हो जाये !!
ऐसे नज़र कहा से लाऊ की !!
तुझे याद करू और तेरे दर्शन हो जाये !!
कितना बेबस हो जाता है !!
इंसान जब किसी !!
को खो भी नहीं सकता !!
और उसका हो भी नहीं सकता !!
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Miss you status true love radha krishna quotes in hindi
राम बना तो सीता नही मिली !!
कृष्णा बना तो राधा नहीं मिली !!
मोहब्बत तो दोनों ने की थी मगर !!
मुक्कादर को मोहब्बत ही न मिली !!
एक तरफ साँवले कृष्ण !!
दूसरी तरफ राधिका गोरी !!
जैसे एक-दूसरे से मिल !!
गए हों चाँद-चकोरी !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो राधा के !!
दिल पर हर जगह विराजमान हैं !!
मटकी तोड़े माखन खाए !!
फिर भी सबके मन को भाये !!
राधा के वो प्यारे मोहन !!
महिमा उनकी दुनिया गाये !!
प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है !!
ठीक वैसे हीं जैसे प्यार में !!
कृष्ण का नाम राधा और !!
राधा का नाम कृष्ण होता है !!
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा !!
प्यार का असली मतलब क्या होता हैं !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता हैं !!
नन्हा सा फूल हूँ मैं !!
चरणों की धुल हूँ मैं !!
आया हूँ तेरे द्वार कान्हा !!
मेरी पूजा करो स्वीकार !!
पलकें झुकें और नमन हो जाए !!
मस्तक झुके और बंदन हो जाए !!
ऐसी नजर कहाँ से लाऊँ मेरे कान्हा
कि आपको याद करूँ और दर्शन हो जाए !!
कभी राम बन के कभी श्याम बन के !!
चले आना प्रभु जी चले आना हमारे हृदय में !!
जब राम रूप में आना माँ सीता को भी संग लाना !!
जब श्याम रूप में आना तो माँ राधा को संग लाना !!
राधा के दिल की चाहत है कृष्णा !!
राधा की विरासत है कृष्णा !!
कितने भी रास रचा ले कृष्णा !!
फिर भी दुनिया कहेगी !!
पता नहीं कैसे परखता है !!
मेरा कृष्ण मुझे !!
इम्तिहां भी मुश्किल ही लेता है !!
और फेल भी होने नहीं देता !!
कितना भी धन-दौलत पा लो
पर भूख नहीं मिटटी तृष्णा की !!
उसको जीवन का सारा धन मिल जाता है !!
जो भक्ति करें राधा के कृष्णा की !!
जमाने से नहीं हम तन्हाई से डरते हैं !!
प्यार से नहीं हम रुस्वाई से डरते हैं !!
दिल में उमंग हैं तुम्हे मिलने की !!
पर मिलने के बाद आने वाली जुदाई से डरते हैं !!
सुनो कन्हैया जहाँ से तेरा मन करे !!
मेरी जिन्दगी को पड़ लो पन्ना !!
चाहे कोईं भी खोलो हर पन्ने पर !!
तेरा नाम होगा मेरे कान्हा !!
डरो मत जो वास्तविक नहीं है !!
कभी नहीं था और कभी नहीं होगा !!
जो सच वह हमेशा था !!
और नष्ट नहीं किया जा सकता !!
जब कोई व्यक्ति दूसरों के सुख-दुःख के प्रति !!
इस तरह प्रतिक्रिया करता है !!
जैसे कि वे उसके अपने थे तो उसने !!
महान धार्मिक विवाह को प्राप्त कर लिया है !!
दूसरों की जिम्मेदारियों को !!
सीखने की तुलना में अपने स्वयं के !!
कर्तव्यों को अपूर्ण रूप से !!
निष्पादित करना बेहतर है !!
जबसे जीव अस्तित्व में आये है !!
तबसे एक और शब्द अस्तित्व में आया है !!
संघर्ष जन्म लेते ही व्यक्ति को जीवन !!
जीने के लिए संघर्ष करना पड़ता है !!
क्योंकि कर्म यदि शुभ हो तो !!
परिणाम बुरे हो ही नहीं सकते !!
शुभ की इच्छा से कार्य करने वालो को !!
फल की चिंता कैसी !!
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा प्यार का असली !!
मतलब क्या होता हैं !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता हैं !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में !!
पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू !!
प्यार हो ही जाता हैं !!
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Status radha krishna shayari
पाने को ही प्रेम कहे !!
जग की ये है रीत !!
प्रेम का सही अर्थ !!
समझायेगी राधा-कृष्णा की प्रीत !!
राधा ने किसी और की तरफ देखा हीं नहीं !!
जब से वो कृष्ण के प्यार में खो गई !!
कान्हा के प्यार में पड़कर !!
वो खुद प्यार की परिभाषा हो गई !!
हर शाम किसी के लिए सुहानी नही होती !!
हर प्यार के पीछे कोई कहानी नही होती !!
कुछ तो असर होता हैं दो आत्मा के मेल का !!
वरना गोरी राधा !! सावले कान्हा की दीवानी ना होती !!
मटकी तोड़े माखन खाए !!
फिर भी सबके मन को भाये !!
राधा के वो प्यारे मोहन !!
महिमा उनकी दुनिया गाये !!
राम बना तो सीता नही मिली !!
कृष्णा बना तो राधा नहीं मिली !!
मोहब्बत तो दोनों ने की थी मगर !!
मुक्कादर को मोहब्बत ही न मिली !!
जिस पर राधा को मान हैं !!
जिस पर राधा को गुमान हैं !!
यह वही कृष्ण हैं जो राधा के !!
दिल पर हर जगह विराजमान हैं !!
मुझको मालूम नहीं अगला जन्म हैं की नहीं !!
ये जन्म प्यार में गुजरे ये दुआ मांगी हैं !!
और कुछ मुझे जमाने से मिले या ना मिले !!
ए मेरे कान्हा तेरी मोहब्बत ही सदा मांगी हैं !!
कुछ तोह बात है साहब मोहब्बत में !!
वरना सोलह हज़ार एक सौ !!
आठ रानियों का राजा होकर !!
एक राधा के लिए नहीं तरसता !!
किसी की सूरत बदल गई !!
किसी की नियत बदल गई !!
जब से तूने पकड़ा मेरा हाथ !!
राधे मेरी तो किस्मत ही बदल गई !!
बैकुंठ में भी ना मिले जो वो सुख !!
कान्हा तेरे वृंदावन धाम में हैं !!
कितनी भी बड़ी विपदा हो चाहे !!
समाधान तो बस श्री राधे तेरे नाम में हैं !!
पीर लिखो तो मीरा जैसी !!
मिलन लिखो कुछ राधा सा !!
दोनों ही है कुछ पूरे से !!
दोनों में ही वो कुछ आधा सा !!
जय श्री कृष्णा !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
प्यार और तकदीर कभी साथ साथ नहीं चलते !!
क्योकि जो तकदीर में होते है !!
उनसे कभी प्यार नहीं होता !!
और जिससे हमे प्यार हो जाता है !!
वह तकदीर में नहीं होता !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
राधा ने श्री कृष्णा से पूछा !!
प्यार का असली मतलब क्या होता है !!
श्री कृष्णा ने हंस कर कहा !!
जहाँ मतलब होता है !!
वहां प्यार ही कहाँ होता है !!
मैं कान्हा था कान्हा हूँ
ओर कान्हा ही रहूँगा !!
फैसला तुझे करना हैं पगली !!
तुझे गोपी बनना हैं !!
मीरा बनना हैं या मेरी राधा !!
राधा ने कृष्ण से पूछा आपने !!
मुझसे शादी क्यों नहीं की !!
कृष्ण ने जवाब दिया शादी !!
तो दो लोगो के बीच होती है !!
परन्तु राधा तुम और में तोह एक हैं !!
भगवान कृष्ण के बिना !!
जीवन भक्ति के बिना प्रार्थना !!
भावना के बिना शब्द !!
सुगंध के बिना अनुयायी गूंज के बिना गूंज !!
लक्ष्य के बिना अस्तित्व आत्मा के बिना दुनिया !!
जो फूल बेचते है !!
उन्हें कभी-कभार कांटे अवश्य चुभ जाते है !!
किन्तु सुगंध उनके हाथों में रह ही जाती है !!
हीरे की खोज में कोयले की खान में !!
उतरे व्यक्ति पर कालिक भले ही लग जाये !!
किन्तु हाथों में हीरा अवश्य लगता है !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
राधा की चाहत हैं कृष्ण !!
उसके दिल की विरासत हैं कृष्ण !!
चाहे कितना भी रास रचा ले कृष्ण !!
दुनिया तो फिर भी यही कहती हैं !!
राधे कृष्ण राधे कृष्ण !!
मैं कान्हा था कान्हा हूँ !!
ओर कान्हा ही रहूँगा !!
फैसला तुझे करना हैं पगली !!
तुझे गोपी बनना हैं !!
मीरा बनना हैं या मेरी राधा !!
कोई प्यार करे तो राधा-कृष्ण की तरह करे !!
जो एक बार मिले तो फिर कभी बिछड़े हीं नहीं !!
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Radha krishna quotes in hindi
मुझे मालूम था की वो मेरा हो ही नहीं सकता
मगर देखो मुझे फिर भी प्रेम हो गया उससे !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
प्रेम तो सदियों से चला आ रहा हैं !!
फिर वो राधा का हो या सीता का !!
जब प्रेम का सुरूर मेरे दिल पर छाता है !!
मेरा हृदय चारों तरफ राधा-कृष्ण को ही पाता है !!
भरोसा और प्यार ऐसे पंछी हैं अगर इनमे से !!
एक उड़ जाएँ तो दूसरा अपने आप उड़ जाता हैं !!
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
जो प्रेम की पूजा करते है !!
राधा-कृष्ण उनके हृदय में बसते हैं !!
हे कान्हा तुम्हें पाना जरूरी तो नहीं !!
तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए !!
एक तरफ साँवले कृष्ण दूसरी तरफ राधिका गोरी !!
जैसे एक-दूसरे से मिल गए हों चाँद-चकोरी !!
प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं !!
राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती है !!
यदि प्रेम का मतलब सिर्फ पा लेना होता !!
तो हर हृदय में राधा-कृष्ण का नाम नही होता !!
कितना बेबस हो जाता है इंसान जब किसी !!
को खो भी नहीं सकता और उसका हो भी नहीं सकता !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
जो है माखन चोर जो है मुरली वाला !!
वही है हम सबके दुःख दूर करने वाला !!
कर भरोसा राधे नाम का धोखा कभी न खायेगा !!
हर मौके पर कृष्ण तेरे घर सबसे पहले आयेगा !!
रूप बड़ा प्यारा है चेहरा बड़ा निराला है बड़ी से !!
बड़ी मुसीबत को कन्हैया ने पल भर में हल कर डाला है !!
कृष्ण कन्हाई को जापे सभी पर वह अस्तित्व अधूरा है !!
कान्हा के प्राण बेस ब्रज में जहाँ कड में राधा राधा है !!
मेरे पास गोपियाँ तो बहुत हैं !!
पर मेरा मन मेरी राधा के सिवा कहीं लगता ही नही !!
अगर तुमने राधा के कृष्ण के प्रति समर्पण को जान लिया !!
तो तुमने प्यार को सच्चे अर्थों में जान लिया !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह हैं ईनाम !!
कान्हा से पहले लोग लेते है राधा का नाम !!
सच्ची मोहब्बत का अंजाम अगर विवाह होता !!
तो रुक्मणि की जगह राधा का स्थान होता !!
राधा-राधा जपने से हो जाएगा तेरा उद्धार !!
क्योंकि ये वही नाम हैं जिससे कृष्ण को हैं प्यार !!
पता नहीं मजाक था या प्यार का पैगाम लिखा था !!
जब मैनें राधा और उसने श्याम लिखा था !!
राधा-कृष्णा ही प्रेम की सबसे अच्छी परिभाषा है !!
बिना कहे जो समझ में आ जाए प्रेम ऐसी भाषा है !!
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Radha krishna shayari
हर पल हर दिन कहता हैं कान्हा का मन !!
तू कर ले पल-पल राधा का सुमिरन !!
जब सुकून ना मिले दिखावे की बस्ती में !!
तब खो जाना मेरे श्याम की मस्ती में !!
अपना अनिवार्य कर्तव्य निभाएं !!
क्योंकि कार्रवाई निष्क्रियता से कहीं बेहतर है !!
अपना दिल अपने काम पर लगाएं !!
लेकिन इसके लाभ पर नहीं !!
एक आदमी अपने विश्वासों से बनता है !!
जैसा वह मानता है वैसा ही वह बन जाता है !!
कृष्ण ने राधा से पूछा ऐसी एक जगह बताओ जहा में !!
नहीं हूँ राधा ने मुस्कुरा के कहा बस मेरे नसीब में !!
राधा कृष्ण का मिलन तो बस एक बहाना था !!
दुनियाँ को प्यार का सही मतलब जो समझाना था !!
प्रेम के दो मीठे बोल बोलकर खरीद लो हमें !!
कीमत से सोचोगे तो पूरी दुनिया बेचनी पडेगी !!
राधा के सच्चे प्रेम का यह ईनाम हैं !!
कान्हा से पहले लोग लेते राधा का नाम हैं !!
कितने सुंदर नैन तेरे ओ राधा प्यारी !!
इन नैनों में खो गये मेरे बांकेबिहारी !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में पाकर दिल खो ही जाता हैं
खुदको जितना भी रोक लू प्यार हो ही जाता हैं !!
एक दूजे के होकर ही हम पुरे होते है !!
जैसे राधा कृष्णा की और कृष्णा राधा के होते है !!
कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया सुन भई वो प्रेम दिवानी !!
जब-जब कान्हा मुरली बजाएँ दौड़ी आये राधा रानी !!
हर पल आंखों में पानी हैं क्योंकि चाहत में रुहानी हैं !!
मैं हूँ तुझसे तू हैं मुझसे अपनी बस यही कहानी हैं !!
श्याम तेरे मिलने का सत्संग ही बहाना है !!
दुनिया वाले क्या जाने ये रिश्ता पुराना है !!
बड़ी बरकत है कान्हा तेरे इश्क़ में !!
जब से हुआ है कोई दूसरा दर्द ही नहीं होता !!
कन्हैया को राधा ने प्यार का पैगाम लिखा !!
पूरे खत में सिर्फ कान्हा का ही नाम लिखा !!
कृष्ण ने राधा से पूछा ऐसी एक जगह बताओ जहा में !!
नहीं हूँ राधा ने मुस्कुरा के कहा बस मेरे नसीब में !!
कान्हा तुझे ख्वाबों में पाकर दिल खो ही जाता हैं !!
खुदको जितना भी रोक लू प्यार हो ही जाता हैं !!
प्यार मे कितनी बाधा देखी !!
फिर भी कृष्ण के साथ राधा देखी !!
कोई प्यार करे तो राधा-कृष्ण की तरह करे !!
जो एक बार मिले तो फिर कभी बिछड़े हीं नहीं !!
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